A review by puneetkusum
Night Train at Deoli by Ruskin Bond

4.0

‘The Night Train at Deoli’ का यह हिन्दी संस्करण राजपाल प्रकाशन से पिछले ही साल यानि 2016 में प्रकाशित हुआ है। 200 पेज की किताब में कुल 17 कहानियाँ हैं जिनमें से पहली ‘नाइट ट्रेन ऐट देओली’ ही है। कहने की ज़रुरत नहीं कि पूरी किताब में पहाड़, झील, झरने, आकाश के रंग, मौसम, फूल, क्यारी, बरसात भरपूर हैं और बड़ी ही सुहानी और महकती तासीर के साथ। शुरू की कहानियों में जहाँ बचपन का प्यार, पतंगों की पेंच, आस-पड़ोस का हँसी-ठट्टा और कुछ हलके-फुल्के किस्से हैं, वहीं यह किताब सेकंड-हाफ आते ही लगने लगता है, दोबारा शुरू हुई है। एक के बाद एक कहानियाँ आपको सहज और सरल दिखने वाले पात्रों के जीवन की छोटी-छोटी घटनाओं के माध्यम से उनके पसीजते मन की सारी सीलन महसूस करा देती हैं।


Read full review here:
http://poshampa.org/the-night-train-at-deoli/